वैदिक शिक्षा क्रांति की स्थापना जगद्गुरु शंकराचार्य सनातनधर्म संरक्षण न्यास द्वारा गुरुपूर्णिमा 3 जुलाई 2023 को वृंदावन में गुरुकुल का शुभारंभ करके हुआ।
हमारी संस्था पिछले कुछ वर्षों से निरंतर वैदिक शिक्षा के लिए कार्य कर रही है। सर्वप्रथम हम गुरुकुलों के लिए वैदिक आचार्य तैयार करने में लगें हैं। छात्रों को निशुल्क शिक्षा के साथ भोजन, आवास, वस्त्र एवं पाठ्य पुस्तकों की सुविधाएं भी दी जाती है। हमारा लक्ष्य है कि कुछ वर्षों में हम हजारों विद्वान आचार्य तैयार कर ले जिससे आगे हजारों गुरुकुल स्थापित किए जा सकें।
आज यदि देखा जाए सम्पूर्ण भारत में धर्म का पतन हो चुका है लोग जिसे धर्म समझते हैं वो वास्तव में मात्र धर्माभास है। समाज में मानव के जीवन के लिए जो मूलभूत आवश्यकताएं हैं वो लोगों को नहीं मिल पा रहा है जिसके कारण समाज में अनेक प्रकार के अपराध फैल रहे हैं। इस देश में जहां कभी कोई भूखा नहीं सोता था कभी कोई दूसरे के दिए भोजन पर न पलकर स्वयं के पुरुषार्थ से अपनी आवश्यकताएं पूरी करता था आज उसी देश में 80 करोड़ लोगों का पेट सरकार भर रही है।
इस देश में भ्रष्टाचार चरम पर है, लोग जीविका विहीन हैं। इस देश में 90 करोड़ लोग किसी न किसी शारीरिक मानसिक बीमारी से ग्रस्त हैं। कहने को देश युवा एवं धार्मिक है पर इस देश में नशा, व्यभिचार, बेरोजगारी, लूट, हत्या, बलात्कार, अपहरण भी दुनिया के अन्य देशों से अधिक है। इस देश में धर्म के नाम पर केवल दिखावा व पाखंड हो रहा है, शास्त्र को कोई जानने मानने को तैयार नहीं है, मंदिरों की मर्यादा नष्ट की जा चुकी है, धर्म के नाम पर सभी मनमाना मनगढ़ंत कार्य करने में लगे हैं, वर्णसंकरता जैसे भयानक अपराध को बढ़ावा दिया जा रहा है। गौ की हत्या हो रही है। गंगा, यमुना जैसी पवित्र नदियों को नष्ट करने का षड़यंत्र चल रहा है। भारत की कृषि भूमि एवं खाद्यान बीजों को षडयंत्र के तहत संक्रमित किया जा रहा है। समस्याएं बहुत हैं पर प्रश्न यह हैं कि -
आज बहुत से धार्मिक लोग निराश हैं उन्हें लगता है कि भारत कि यह समस्याएं कभी समाप्त नहीं हो पाएंगी। हम आप सभी धार्मिकों से कहना चाहते हैं की इन सभी समस्याओं का समाधान हो सकता है यदि हमलोग मिलजुल कर इसके लिए कार्य करें तब। हमारे पास भारत की समस्त समस्याओं को समाप्त करने और धर्मराज्य स्थापित करके भारत एवं इसकी प्रजा को स्थिर और सुखी करने की पूरी योजना है जिसपर हम निरंतर क्रमवार कार्य कर रहे हैं।
यदि आप विचार करेंगे तब आप पाएंगे कि सबसे पहले इस देश में भारत की गुरुकुलीय शिक्षा व्यवस्था को नष्ट करके मैकाले शिक्षा व्यवस्था स्थापित किया गया। जब तक हमारे गुरुकुल की परंपरा थी तबतक भारत का सामाजिक, सांस्कृतिक एवं धार्मिक पतन नहीं हुआ था। मुसलमानों ने हम पर अत्याचार किए पर हमें हमारे धर्म संस्कृति और परम्पराओं से दूर नहीं कर सके परन्तु अंग्रेजों ने हमारे गुरुकूलों को नष्ट करके हमें हमारे धर्म संस्कृति परंपराओं से न केवल दूर किया बल्कि आज भारतीयों के मन में अपने ही धर्म संस्कृति और परम्पराओं के प्रति घृणा भर दिया है।
जो लोग आज भी धर्म के लिए थोड़ा भी जागरूक हैं उन्हें आज एकजुट हो सबसे पहले पुनः भारत में वैदिक गुरुकुलीय परंपरा को स्थापित करना होगा। जबतक हम शिक्षा का पुनः भारतीयकरण नहीं करेंगे तब तक संसार की कोई शक्ति भारत में धर्म की स्थापना नहीं कर सकती, तबतक कोई शक्ति भारत में ऊपर बताएं समस्याओं को समाप्त करके सर्वत्र सुख एवं प्रसन्नता व्याप्त नहीं कर सकती।
हम लोग वैदिक शिक्षा के लिए निरंतर कार्य कर रहे हैं और आप सब से आह्वान करते हैं कि आइए हमारे साथ जुड़िए। हमारे साथ इस क्रांति में जुड़िए और शिक्षा व्यवस्था का भारतीयकरण करने में साथ दीजिए। वैदिक शिक्षा क्रांति का उद्देश्य भारत की शिक्षा पद्धति को बदलकर भारतीय गुरुकुलीय वैदिक शिक्षा पद्धति को स्थापित करना है।
आप सभी सनातनी भाइयों बहनों से निवेदन है कि इस क्रांति में जुड़कर वैदिक शिक्षा व्यवस्था के इस यज्ञ में अपनी आहुति दें।
इस क्रांति से जुड़ने के लिए आप यहां पंजीकरण करके संस्थान का सदस्यता स्वीकार करें।
Register Nowसचिव
जगद्गुरु शंकराचार्य अनुसंधान एवं प्रशिक्षण संस्थान
वृंदावन मथुरा उत्तर प्रदेश
8439945762